Bihar Nation
सबसे पहले सबसे तेज़, बिहार नेशन न्यूज़

मदनपुर में मुखिया सदस्यों ने अपनी अधिकारों में की जा रही कटौती के खिलाफ, बीडीओ कुमुद रंजन को सौंपा ज्ञापन, ये है इनकी मांगें ?

0 318

 

जे.पी.चन्द्रा की रिपोर्ट

बिहार नेशन: औरंगाबाद जिले के मदनपुर प्रखंड में मुखिया संघ के आह्वान पर बुधवार को 19 पंचायतों के मुखिया ने अपनी अधिकारों को लेकर प्रखंड विकास पदाधिकारी कुमुद रंजन को ज्ञापन सौंपा। इस दौरान मुखिया सदस्यों ने कहा कि उन्हें जितना अधिकार मिलना चाहिए वह नहीं मिल रहा है। इसलिए 22 अगस्त को प्रखंड स्तर और 29 अगस्त को जिला मुख्यालयों पर धरना प्रदर्शन भी किया जाएगा। बता दें कि ग्राम पंचायतों के मुखिया नीतीश सरकार और केंद्र की मोदी सरकार दोनों के खिलाफ हड़ताल कर रहे हैं।

मुखिया सदस्य

बता दें कि बिहार मुखिया महासंघ के नेतृत्व में यह हड़ताल बुलाई गई है। जिसके आह्वान पर राजयभर के मुखिया 16 से 31 अगस्त तक सरकारी कार्य का बहिष्कार करेंगे। ये लोग वेतन भत्ते में बढ़ोतरी, सुरक्षा समेत अन्य मांगों को लेकर 16 दिन तक हड़ताल पर रहेंगे।

इस हड़ताल के बारें में खिरियावां पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि रंजीत यादव, पिपरौरा पंचायत के मुखिया धनंजय यादव, मनिका पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि शंकर राम, बनिया पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि डॉ रामानंद रविदास, उत्तरी उमगा पंचायत के मुखिया विवेक कुमार, सलैया पंचायत के मुखिया मनोज चौधरी, एरकी कला पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि कमलेश चौधरी, घोड़ा डिहरी पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि पवन सिंह ने बताया कि हड़ताल के पहले चरण में सभी मुखिया सरकारी कामकाजों का बहिष्कार करेंगे। अगर फिर भी सरकार नहीं मानी तो धरना प्रदर्शन किया जाएगा। इसके बाद आगे की रणनीति बनाई जाएगी। केंद्र और राज्य सरकार पंचायतों के अधिकारों पर कुठाराघात कर रही है। मुखिया से उनका हक छिना जा रहा है। न तो उनके अनुसार काम हो रहा है और न ही उनकी सुरक्षा की गारंटी दी जा रही है। मुखिया को हथियार का लाइसेंस भी नहीं मिल पा रहा है।

ये है मुखियाओं की प्रमुख मांगें-

– पंचायत जनप्रतिनिधियों के वेतन भत्ते में बढ़ोतरी की जाए, केंद्र सरकार 15वें वित्त आयोग की अनुशंसा पर मिलने वाली राशि मुहैया की जाए

– मुखिया की सुरक्षा की गारंटी दी जाए, उन्हें हथियारों का लाइसेंस दी जाए

– आपराधिक घटनाओं में जनप्रतिनिधियों की मौत पर आश्रितों को 50 लाख रुपये का मुआवजा मिले

– मनरेगा में पंचायतों को भुगतान का अधिकार वापस मिले

– नल जल योजना का संचालन पीएचईडी की जगह पंचायतों को दिया जाए

-ग्राम सभा से चयनित योजनाओं को प्राथमिकता दी जाए। सरकार ग्राम सभा में अनावश्यक हस्तक्षेप बंद किया जाए।

– ग्राम पंचायतो को पुनः जन्म, मृत्यु प्रमाण पत्र बनाने का अधिकार दिया जाए

Leave A Reply

Your email address will not be published.