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बिहार में अब बिना मान्यता के नहीं चलेगा कोई भी प्राइवेट स्कूल,शिक्षा विभाग का आया ये आदेश 

:  राजधानी पटना से इस वक्त एक बड़ी खबर सामने आ रही है। सभी प्रारंभिक प्राइवेट स्कूलों के लिये एक आदेश जारी किया गया है जिसके मुताबिक अब सभी प्राइवेट स्कूलों के लिये  मान्यता लेना अनिवार्य कर दिया गया है

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जे.पी.चन्द्रा की रिपोर्ट

बिहार नेशन:  राजधानी पटना से इस वक्त एक बड़ी खबर सामने आ रही है। सभी प्रारंभिक प्राइवेट स्कूलों के लिये एक आदेश जारी किया गया है जिसके मुताबिक अब सभी प्राइवेट स्कूलों के लिये  मान्यता लेना अनिवार्य कर दिया गया है । इसके लिये सभी प्राइवेट स्कूलों को सरकार की वेबसाइट पर ऑनलाइन आवेदन करना होगा । इसकी जानकारी बिहार के प्रारंभिक शिक्षा निदेशक डॉक्टर रंजीत कुमार ने सभी जिला शिक्षा पदाधिकारियों को पत्र लिखकर दी है।

स्कूल
स्कूल

बिहार शिक्षा विभाग की ओर से जारी आदेश के मुताबिक बच्चों के मुफ्त एवं अनिवार्य शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2009 की धारा 18 और बिहार राज्य बच्चों के मुफ्त एवं अनिवार्य शिक्षा नियमावली 2011 नियम-11 के प्रावधानों के तहत राज्य के सभी निजी प्रारंभिक विद्यालयों को अनिवार्य रूप से मान्यता प्राप्त करना होगा। प्रारंभिक निजी विद्यालयों की प्रस्वीकृति जिला स्तर पर गठित त्रिसदस्यीय समिति के द्वारा निर्धारित मापदण्ड के तहत दी जाती है।

सरकार की ओर से जारी पत्र में लिखा गया है कि मान्यता देने की प्रक्रिया को सुविधाजनक, पारदर्शी और सुगम बनाने के लिए इस व्यवस्था को ऑनलाइन करने के लिए e-sambandhan पोर्टल बनाया गया है। अप्रूवल पाने के लिए शिक्षा विभाग के वेबसाइट पर Important Links में e-sambandhan edu-online.bihar.gov.in पर आवेदन किया जा सकता है।

गौरतलब हो कि शिक्षा मंत्री विजय चौधरी ने गुरुवार को शिक्षा विभाग के कांफ्रेस रूम में e-sambandhan पोर्टल लांच किया था।  ताकि स्कूलों को संबंधन लेने में आसानी होगी और शिक्षा का अधिकार अधिनियम भी अच्छी तरह से लागू हो सकेगा।  शिक्षा विभाग के अपर सचिव संजय कुमार ने बताया कि इस वेब पोर्टल के जरिए इच्छुक विद्यालय प्रबंधन समिति अपने विद्यालय के प्रस्वीकृति या अनापत्ति प्रमाण पत्र के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। आवेदन पर की गई हर कार्रवाई की सूचना आवेदक को पोर्टल के माध्यम से प्राप्त हो जाएगी।

विजय कुमार चौधरी

प्राथमिक शिक्षा निदेशक रणजीत कुमार सिंह ने कहा कि सिस्टम को आसान बनाने की कोशिश की गई है। इससे भविष्य में हमारे पास इससे जुड़ा डाटा भी रहेगा। ऑनलाइन आवेदन करने के क्रम में किसी भी तरह की तकनीकी दिक्कत आए तो समाधान के लिए दो मोबाइल नंबर भी जारी किए गए- 7004070073, 7396000010 पर संपर्क कर समस्या के बारे में बताया जा सकता है।

पत्र में ये तीन जरूरी बातें लिखी गई हैं –

1. इस नई व्यवस्था के तहत पूर्व से प्रस्वीकृति प्राप्त सभी निजी प्रारंभिक विद्यालयों का ऑनलाइन Document upload करायी जाय। Document upload का कार्य दिनांक 30. 09:2021 तक निश्चित रूप से पूर्ण कर ली जाय। तत्पश्चात् प्रस्वीकृति प्राप्त सभी निजी प्रारंभिक विद्यालयों का निर्धारित माप दंड के तहत जॉचोपरांत प्रस्वीकृति प्रमाण पत्र निर्गत करना सुनिश्चित करें जिला स्तर पर यह कार्य दिनांक 31.12.2021 तक निश्चित रूप से कर ली जाय। जिससे दिनांक 31.12.2021 तक पूर्व से प्रस्वीकृत प्राप्त प्रारंभिक निजी विद्यालय का QR Code वाली प्रस्वीकृति प्रमाण पत्र निर्गत हो सके।

2. पूर्व व्यवस्था के तहत प्राप्त लंबित आवेदनो पर प्रस्वीकृति संबंधी अब कोई ऑफलाइन कार्रवाई नहीं की जाएगी। जिलों में निजी प्रारंभिक विद्यालयों की प्रस्वीकृति हेतु प्राप्त आवेदन जो अभी लंबित है वैसे मामले में नई व्यवस्था के तहत प्रस्वीकृति हेतु ऑनलाइन आवेदन प्राप्त करने हेतु संबंधित निजी विद्यालय के प्रबंध समिति के अध्यक्ष / व्यवस्थापक को निर्देशित किया जाय।

3. वैसे सभी निजी प्रारंभिक विद्यालयों जिनकी प्रस्वीकृति हेतु प्रबंध समिति के अध्यक्ष / व्यवस्थापक के द्वारा अब तक ऑफलाइन / ऑनलाइन आवेदन नहीं किया है उनसे अनिवार्य रूप से Online माध्यम से आवेदन प्राप्त कर प्रस्वीकृति की कार्रवाई कराना सुनिश्चित करें। किसी भी निजी विद्यालय का संचालन, बिना प्रस्वीकृति के दिनांक 31.12.2021 के उपरात नहीं किया जाना है। सभी जिला शिक्षा पदाधिकारी इस आशय का प्रमाण पत्र विभाग में जनवरी 2022 में निश्चित रूप से समर्पित करेंगे।

निजी प्रारंभिक विद्यालयों की प्रस्वीकृति हेतु प्राप्त ऑनलाइन आवेदनों का नियमानुसार ससमय निष्पादन करना सुनिश्चित करें।

आपको बता दें की इस समय बिहार में धड़ल्ले से प्राइवेट स्कूल खोले जा रहे हैं या चल रहे हैं । इन प्राइवेट स्कूलों में संसाधनों की घोर कमी होती है। राज्य सरकार के तय मानकों के अनुरूप न तो बैठने की व्यवस्था होती है और न पठन-पाठन के लिये गुणवत्ता युक्त शिक्षक । शिक्षकों के नाम पर केवल कोरम को पूरा कर दिया जाता है।

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